सीआईएनए। उदयपुर के दर्जी कन्हैया लाल के हत्यारों का पाकिस्तान स्थित दावत-ए-इस्लामी के साथ संबंध की जानकारी जांच में सामने आ रही है। आरोपियों ने लगातार विदेश यात्राएं की थीं। गौस मोहम्मद को दावत-ए-इस्लामी के वरिष्ठ पदाधिकारियों ने 2014 में पाकिस्तान बुलाया था।

गौस मोहम्मद 40 दिनों तक कराची में रहा। वह 2013 और 2019 में उमराह के लिए सऊदी अरब गया था। अन्य आरोपी भी सऊदी अरब समेत विदेश यात्रा कर चुके हैं। गौस ने उसने रियाज अख्तरी के साथ मिलकर कन्हैया लाल का सिर काटा था।

कराची से चलने वाले संगठन दावत-ए-इस्लामी का उद्देश्य विश्व स्तर पर शरिया की वकालत करना है। इसके लिए कुरान और सुन्नत की शिक्षाओं का यह संगठन प्रसार करता है।

पाकिस्तान में इसके सदस्यों की संख्या काफी ज्यादा है। यह इस्लामिक देश में ईशनिंदा कानून का समर्थन करता है। यानी पैगम्बर मोहम्मद या इस्लाम के खिलाफ बोलने वालों को सजा देने की बात यह संगठन करता है।

उदयपुर के दर्जी कन्हैया लाल का दूसरा हत्यारा रियाज अख्तरी राजस्थान की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की माइनॉरिटी सेल में शामिल होने की कोशिश कर रहा था। जांच में पता चला है कि दावत-ए-इस्लामी के नेता इलियास अत्तर कादरी के साथ दिखने वाला रियाज अख्तरी मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं संग करीबी बढ़ाने की कोशिश में लगा था।

भाजपा ने अख्तरी के पार्टी से जुड़े होने के कांग्रेस के आरोपों और अख्तरी के साथ किसी भी संबंध से इनकार किया है। दोनों आरोपी एनआईए की हिरासत में हैं। जयपुर स्थित राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) कोर्ट ने शनिवार को उदयपुर हत्याकांड मामले में इन दोनों के अलावा उनके दो और साथियों आसिफ और मोहसिन को गिरफ्तार किया है। सभी को 10 दिन की NIA रिमांड में भेज दिया गया है।