सीआईएनए।  अल-कायदा प्रमुख अल-जवाहिरी को अमेरिका ने एक हमले में मार गिराया है। मगर, उसकी मौत के बाद भारत में आतंकी घटना को लेकर खुफिया एजेंसियों ने अलर्ट जारी किया है। एजेंसियों ने अनुमान लगाया है कि इस आतंकी संगठन से जुड़े भारत में मौजूद लोग हताशा में आतंकी हमले कर सकते हैं, इसलिए हर संभव जगह पर चौकसी और सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश दिए गए हैं।

एजेंसियों का अनुमान है कि जवाहिरी की जगह सैफ अल-अदल अब अल-कायदा का नया प्रमुख बन सकता है। ये वही शख्स है जिसने साल 1998 में केन्या में अमेरिकी दूतावास पर बम धमाका किया था, इसके साथ ही महज 30 साल की उम्र में उसने अठारह अमेरिकी सेना के जवानों को मार गिराया था। 

ओसामा बिन लादेन के बाद, अब अल-कायदा प्रमुख अल-जवाहिरी को अमेरिका ने रविवार को अफगानिस्तान में उसके घर में मार गिराया। लादेन को अमेरिकी कमांडो ने पाकिस्तान के एबोटाबाद में घुसकर मारा था। वहीं, जवाहिरी को अमेरिकी ड्रोन से निशाना बनाया गया। अल-जवाहिरी की हत्या भारत पर भी सीधा फर्क पड़ सकता है क्योंकि खुफिया एजेंसियों ने अनुमान लगाया है कि जवाहिरी की हत्या का भारत में मौजूद कैडरों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है। हताशा में वे एक बड़ी घटना को अंजाम दे सकते हैं।

खुफिया एजेंसी के एक शीर्ष अधिकारी ने कहा कि हाल ही में ये लोग भारत के खिलाफ लगातार दुष्प्रचार कर रहे थे। भारत में अलकायदा मशीनरी स्थापित करने की भरसक कोशिश कर रहे थे। अब आतंकी संगठन आईएस खुरासान प्रांत के सहयोग से किसी भी बड़ी घटना को अंजाम दे सकते हैं।

इस साजिश में लश्कर-ए-तैयबा और मोहम्मद जैसे आतंकी संगठन और उनसे जुड़े संगठन भी शामिल हैं। हाल ही में अल कायदा के भारत विरोधी बयानों के चलते भारत में मौजूद आतंकी संगठन भी अपनी निष्ठा जाहिर करने के लिए आतंकी हमले कर सकते हैं।

खुफिया एजेंसियों के एक शीर्ष अधिकारी के मुताबिक इस साल स्वतंत्रता दिवस के मौके पर भारत में 75वां अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है। ऐसे में ये संगठन आतंकी गतिविधियों को अंजाम देकर अलकायदा के नए सरगना को संदेश देने की पूरी कोशिश करेंगे। इन हमलों के नाम पर पाकिस्तान से ज्यादा से ज्यादा चंदा लेने की कोशिश करेंगे।