रायपुर। स्वास्थ्य के क्षेत्र में छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा लगातार बेहतर पहल की जा रही है। स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री टीएस  सिंहदेव की पहल से प्रदेश में चिकित्सा शिक्षा का दायरा बढ़ता जा रहा है। दुर्ग जिले के बाद प्रदेश के तीन जिलों में डीएनबी पाठ्यक्रम को मंजूरी दी गई है। इन रायपुर सहित तीन जिला अस्पतालों में डीएनबी के कुल 12 सीटों की अनुमति दी गई है। इसके साथ ही प्रदेश में अब डीएनबी की मान्यता कुल चार जिला अस्पतालों को मिल गई है।

बता दें जिला अस्पतालों में विशेषज्ञ चिकित्सकों की मौजूदगी और गुणवत्तापूर्ण इलाज के कारण राज्य में डीएनबी पाठ्यक्रम की सीटों में लगातार बढ़ोतरी की जा रही है। नेशनल बोर्ड ऑफ एक्जामिनेशन्स इन मेडिकल साइंसेज (NBEMS), नई दिल्ली द्वारा दुर्ग जिला अस्पताल के बाद रायपुर, कांकेर और सूरजपुर के जिला अस्तपतालों में भी डीएनबी पाठ्यक्रम की अनुमति दी है।

उक्त सभी जिला अस्पतालों को भी दो वर्षीय पोस्ट एमबीबीएस डिप्लोमा कोर्स (Post MBBS Diploma Course) डीएनबी के लिए मान्यता दी गई है। इन सभी अस्पतालों को पांच-पांच वर्ष के लिए इस कोर्स की अनुमति दी गई है। रायपुर जिला अस्पताल को जनवरी-2022 से दिसम्बर-2026 तक के लिए डीएनबी के कुल छह सीटों की मान्यता मिली है। इनमें पिडियाट्रिक्स (शिशु रोग) के तीन, प्रसूति एवं स्त्री रोग के दो और फैमिली मेडिसीन की एक सीट शामिल है।

कांकेर जिला अस्पताल को जनवरी-2022 से दिसम्बर-2026 तक के लिए नेत्र रोग में डीएनबी की एक सीट के लिए तथा सूरजपुर जिला अस्पताल को जनवरी-2021 से दिसम्बर-2025 तक स्त्री एवं प्रसूति रोग में एक सीट के लिए मान्यता प्रदान की गई है। इससे पहले नेशनल बोर्ड ऑफ एक्जामिनेशन्स द्वारा दुर्ग जिला अस्पताल को भी पूर्व में ईएनटी एवं पिडियाट्रिक्स में दो-दो सीटों के लिए डीएनबी की मान्यता प्रदान की गई है।